पंचशील बालक इन्टर कॉलेज के प्रधानाचार्य डॉ.नीरज टंडन का मानना शिक्षक समाज की नींव तैयार करते है

गौतम बुद्ध नगर :- नोएडा में पंचशील बालक इन्टर कॉलेज नोएडा सेक्टर-91 के सेमिनार हाल में नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा शिक्षा समिति के चारों विधालयो के प्राइमरी शिक्षकों के लिए एक सेमिनार का आयोजन किया गया | इस सेमिनार का उद्देश्य था व्यक्तित्व विकास के साथ शिक्षकों को उत्कृष्टता हासिल करने और अपने शिक्षण कौशल को और अधिक निखारने के लिए प्रेरित करना | प्रधानाचार्य डॉ.नीरज टंडन के अनुसार शिक्षक समाज की नींव तैयार करते है इसीलिय आवश्यक है कि उनके कर्तव्य निर्वहन पद्धति में नयी उर्जा का संचार किया जाये इस कारण छात्रों के अतिरिक्त शिक्षकों के लिए भी समय समय पर कार्यशालाओं का आयोजन आवश्यक है| ट्रेनिंग प्रमुख डॉ. शिल्पी सक्सेना ने सेमिनार के प्रथम सत्र में अपने विषय व्यक्तित्व विकास की कला पर व्याख्यान प्रस्तुत किया| मुख्य विषय से सम्बंधित अन्य बिन्दुओं जैसे अभिवृत्ति, संचार कौशल, आत्मज्ञान, सकारात्मक सोच की शक्ति को विस्तार पूर्वक समझाते हुए डॉ. शिल्पी सक्सेना ने बताया कि इन सभी बातों से हम सभी भली भांति परिचित होते हैं पर उससे ज्यादा जरूरी है कि अपने इन गुणों को हम समय समय पर परिष्कृत व अधियन करते रहे जिससे वर्तमान आधुनिक परिप्रेक्ष्य में इन व्यक्तिगत विशेषताओं की सुसंसगता बनी रहे| व्यक्तित्व का विकास एक कला है जिससे निरंतर सुधार कर व्यक्तित्व को प्रखर बनाया जा सकता है | शिक्षा के क्षेत्र में व्यक्तित्व का विकास एक शिक्षक के लिए अनिवार्य पहलु है जिस पर अपेक्षाकृत अधिक ध्यान अवश्य देना चाहिए| सेमिनार के दूसरे सत्र में सी.एच. शर्मा ने नेतृत्व का गुण एव उत्कृष्टता पर अपने विचार प्रस्तुत किये | अपने विषय के सम्बन्ध में सी.एच.शर्मा ने बताया कि नेतृत्व का गुण कई घटकों पर निर्भर करता है मसलन जीवन की गुणवत्ता, कार्य की गुणवत्ता, शिक्षण पद्धत्ति की गुणवत्ता और नेतृत्व कौशल | इन सभी उप विषयों पर चर्चा करते हुए सी.एच.शर्मा ने बताया हैं कि एक शिक्षक में नेतृत्व का गुण सर्वोपरि है| क्योंकि छात्र को प्रेरित करने हेतु उसका उचित मार्गदर्शन आवश्यक होता है और इसी आवश्यकता की पूर्ति के लिए अध्यापक में नेतृत्व का गुण निहित होन चाहिए जो कि उपरोक्त घटकों पर निरंतर प्रयासरत रहने से विकसित होता है | अपने शिक्षण व्यवसाय से प्रेम करे और नए नए प्रयोगों द्वारा शिक्षण पद्धति को और रुचिकर बनाने का प्रयास करें| उत्कृष्टता विषय पर सी.एच.शर्मा ने बताया कि यदि एक जैसे परिणाम चाहिए तो हमें अपनी क्रियाविधियों में एकरूपता लानी होगी परन्तु अगर आप कुछ अलग परिणाम की आशा करते हैं तो अपनी क्रियाविधियों में भी बदलाव करना होगा | ये सही है कि स्थायित्व आवश्यक है परन्तु निरंतर प्रगतिशील बने रहना भी वर्तमान समय की मांग है | सक्रिय बने, स्वयं को अपडेट रखें, कुछ सुधारों और बदलावों के साथ लगातार बेहतर करने की ओर अग्रसर रहें, कार्य में गुणवत्ता लाये और आश्चर्यजनक परिणाम पाने के लिए सबसे महत्वपूर्ण ये कि कार्य को कुछ अलग ढंग से करें | इस सेमिनार में नोएडा एवं ग्रेटर नोएडा शिक्षा समिति के चारों विधालयो पंचशील बालक इन्टर कॉलेज, महामाया बालिका इन्टर कॉलेज, सावित्री बाई फुले बालिका इन्टर कॉलेज व गौतम बुद्ध बालक इन्टर कॉलेज के सभी प्राइमरी अध्यापक उपस्थित रहे | साथ ही पंचशील बालक इन्टर कॉलेज, नोएडा के प्रधानाचार्य डॉ. नीरज टंडन एवं गौतम बुद्ध बालक इन्टर कॉलेज, ग्रेटर नोएडा के प्रधानाचार्य राजीव कुमार भी उपस्थित रहे|